हमारी मालकिन दिव्या
प्रेषिका : शोभा शर्मा
प्रेषिका : शोभा शर्मा
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मुझे तो ज़ल्दी से माँ के साथ सोने की हड़बड़ी थी कि कैसे माँ से चिपक के उसके माँसल बदन का रस ले सकूँ। पर माँ रसोई साफ करने में ज़ुटी हुई थी, मैंने भी रसोई का सामान सम्भालने में उसकी मदद करनी शुरु कर दी।
जिदंगी का वो सच्चा अनुभव जो यादगार रहा और जो कभी सोचा ना था कि ऐसा भी होगा कभी! मेरी एक अनजान दोस्त के साथ समलैंगिक अनुभव की कहानी जो मेरे लिये एक नया और रोमांचक अनुभव देकर गई, सीख मिली कि सेक्स किसी से भी करो, प्यार से करो तथा जब मन और अंतरआत्मा तैयार हो तभी करो !
अब तक पिछले भाग में आपने पढ़ा कि मेरी सेक्रेटरी बिंदु ने मेरे साथ चुत चुदाई का खेल खेला और एक दिन उसने मुझे माँ बनने की बात कह कर मुझसे शादी करने का कहा.
मैं आपका दोस्त आशु हिसार से आज अपनी जिंदगी का एक और किस्सा लेकर हाजिर हुआ हूँ।
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प्रेषिका : नेहा वर्मा
प्रेषक – लक्ष्य
प्रेषक : विशाल
प्रेषक : प्रेम
मैं लंच के बाद से सोच रही थी कि अंकल ने मुझे रूम में क्यों बुलाया होगा, लंच करते वक्त ही अंकल बोले थे कि नीतू दोपहर को मेरे रूम में आना, थोड़ा काम है.
हाय फ्रेंड्स, मेरा नाम विशाल है. मैं हनुमानगढ़ राजस्थान से हूँ. मैं आपको आज बताऊंगा कि कैसे मैंने अपनी बुआ की लड़की वंदना की सील तोड़ी और गांड मारी. मुझसे कोई गलती हो जाए तो माफ करना.
मेरा नाम जसप्रीत है, और मैं पटियाला का रहने वाला हूँ।
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कहने को तो यह एक फिल्म का नाम है, लेकिन जो कहानी मैं आपको सुनाने जा रहा हूँ.. वो ऐसे ही देखे हुए कुछ दृश्यों पर आधारित है। आशा करता हूँ कि आपको पसंद आएगी।
मैंने अब उसकी आखिरी झिझक को दूर करना ही उचित समझा और उसका एक हाथ पकड़ कर उसे सीधे अपने ‘नवाब साब’ पर रख दिया।
दोस्तो, नमस्कार, मेरा नाम राज है, आपने मेरी कहानी
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मेरी ओर देखते हुए निशा बोली- अब तो कुछ बताओ अपने बारे में..
प्रेषक : प्रेम सिंह सिसोदिया
आपने अब तक अन्तर्वासना पर मेरी हिन्दी सेक्स कहानी के पहले भाग में पढ़ा..
हैलो फ्रेंड्स, मेरा नाम अविनव है, मैं पंजाब का रहने वाला हूँ, बहन की चुदाई की यह कहानी मेरी सगी बहन और मेरी है। यह आज से 4 साल पहले की बात है.. जब मेरी उम्र 21 साल की थी और मेरी बहन की 18 साल की उम्र थी।