सम्भोग से आत्मदर्शन-15 Hindi Adult Story
अब तक आपने जो पढ़ा उसमें आंटी और मेरे बीच प्यार के अहसास थे, फिर मैंने ‘आयय हायय मेरी जानेमन…’ कहते हुए मैंने आंटी को अपनी बांहो में उठा लिया और मकान के उस चौथे कक्ष की ओर बढ़ गया जिसे हम लोगों ने इलाज और इस काम के लिए ही आरक्षित कर रखा था।