मेरा पहला साण्ड-3
तभी सुनील ने मेरी कमर पकड़ी और मुझे अपनी गोद में खींच लिया और बोला- आज तो देख ही लिया जाए, तुम आगे-पीछे, ऊपर-नीचे से कितनी अच्छी हो..!
तभी सुनील ने मेरी कमर पकड़ी और मुझे अपनी गोद में खींच लिया और बोला- आज तो देख ही लिया जाए, तुम आगे-पीछे, ऊपर-नीचे से कितनी अच्छी हो..!
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मैं विकी, अपनी मम्मी की सहेली की चुदाई की कहानी बता रहा हूँ कि कैसे मैंने आंटी की मस्त फ्री मूड से सेक्स किया, आंटी को चोदा.
Saja Dene Me Maja Aaya
दोस्तों अब दिल्ली लुटने को तैयार थी…
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Rubi ki Seal Tod di-1
मैं अन्तर्वासना का नियमित पाठक हूँ, मैं 24 वर्षीय जवान मस्त लड़का हूँ, अभी तक कई कुंवारी चूतों का मजा ले चुका हूँ। मैंने पहली चुदाई दिल्ली में की थी, वह चुदाई आज भी मुझे याद है, उसका चीखना और चिल्लाना आज भी मेरे कानों में मधुर स्वर की तरह गूंजता है। मन-मस्तिष्क में गुदगुदी कर उसकी कुंवारी चूत की याद दिलाती है। अब मैं आपको उस सच्ची कहानी के बारे में बताता हूँ। यह घटना आज से तीन साल पहले की है।
बॉस जीवन के कहने के बाद मैं तैयार हुई और हम दोनों ने एक रेस्टोरेन्ट में लंच किया, फिर ऑफिस गये, वहां पहुंच कर जीवन ने ड्राइवर से गाड़ी की चाबी ली और उसे छुट्टी दे दी।
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लेखक : यो यो सिंह
दोस्तो, आज मैं आपको एक बड़ी ही मज़ेदार कहानी सुनाने जा रहा हूँ।
दो भाई थे। एक की उम्र 8 साल दूसरे की 10 साल। दोनों बड़े ही शरारती थे। उनकी शैतानियों से पूरा मोहल्ला तंग आया हुआ था। माता-पिता रात-दिन इसी चिन्ता में डूबे रहते कि आज पता नहीं वे दोनों क्या करेंगे।
सुबह मैंने देखा कि प्रीती हाथ में चाय का कप लिये मुझे उठा रही थी, “उठो! कितनी सुबह हो गयी है, क्या ऑफिस नहीं जाना है?” उसे देख कर ऐसा लग रहा था कि उसने हालात से समझौता कर लिया था। कल रात के किस्से को उसने अपना लिया था। मैं मन ही मन खुश हुआ पर ये मेरी खुशी कितनी गलत थी ये मुझे बाद में पता चला।
चुदाई स्टोरी का पिछला भाग : शादी से पहले सुहागरात-1
नमस्कार दोस्तो, मेरा नाम सौरभ है, मैं अन्तर्वासना का पुराना पाठक हूँ. मैं अन्तर्वासना की अधिकतर कहानियाँ पढ़ चुका हूँ। हर बार एक दर्शक की तरह इन कहानियों का आनंद उठाता रहता हूँ। लेकिन इस बार मैंने मेरी ज़िंदगी की एक सच्ची कहानी आपको बताने की कोशिश की है. तो मैं आपके सामने यह मेरी कहानी रखने जा रहा हूँ. पसंद आये तो मुझे मेल करके बताना मत भूलना.
प्रेषक : आसज़
दोस्तो, मेरा नाम अभिषेक यादव है मैं गाँव का रहने वाला हूँ। बीएससी करने के लिये मैं गाँव छोड़कर गाज़ीपुर शहर चला आया। मैं पढ़ाई की शैली और शरीर की बनावट, इन दोनों में निपुण हूँ।
अब तक आपने पढ़ा था कि मैं कोमल भाभी के जिस्म के साथ अठखेलियाँ करते हुए उन्हें अपने कमरे में खींच कर गया था और दरवाजे बन्द कर लिए थे।
दोस्तो.. आज मैं आपके सामने अपनी एक सच्ची कहानी लेकर आया हूँ.. लेकिन उससे पहले मैं अपने बारे में बता दूँ.. मेरा नाम राज है और मैं उत्तरप्रदेश के सहारनपुर में रहता हूँ। इस वक़्त मेरी उम्र 35 साल हो गई है।
प्रेषक : आकाश वर्मा
अब तक आपने पढ़ा..
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